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आज के समय में वित्तीय प्रबंधन (Financial Management) में जितना जरूरी यह है कि आप हर सप्ताह या हर महीने कितनी धनराशि कमा रहे हैं ? उससे भी कई ज्यादा महत्वपूर्ण यह है कि आप उस धनराशि को खर्च या इन्वेस्ट कैसे कर रहे हैं ? आपने बहुत सुना होगा कि 40, 000 से 50,000 रूपये हर महीने कमाने वाला व्यक्ति भी अपने परिवार के साथ बहुत खुशी से जीवन जी रहा है और दूसरी तरफ 2 लाख से 5 लाख रुपए हर महीने कमाने वाले कुछ व्यक्ति धनराशि का सही प्रबंधन नहीं करके जीवन में परेशानी का सामना करते हैं। यह उसी का एक उदाहरण है, कि हर महीने औसत आय अर्जित करने वाला व्यक्ति नियम के अनुसार धनराशि को खर्च करता है। और सुखी जीवन जीता है।
इस बारे में एक प्रसिद्ध कहावत है कि :-
इस तरह ना खाओ, कि मर्ज हो जाय।
इस तरह ना खर्च करो, कि कर्ज हो जाय।।
सभी भारतीय सैनिकों और सरकारी कर्मचारियों के सामने रिटायरमेंट होते समय एक बहुत बड़ा प्रश्न रहता है कि उन्हें पेंशन कम्युटेशन की धनराशि लेनी चाहिए या नहीं ? क्योंकि जीवन का यह छोटा सा सही निर्णय आपके लिए रिटायरमेंट के पश्चात काफी मददगार साबित हो सकता है। तो आइए जानते हैं पेंशन कम्युटेशन के बारे में पूरी जानकारी।
पेंशन कम्युटेशन क्या है :- सरकारी कर्मचारियों को रिटायरमेंट के समय एक लम-सम अमाउंट मिलता है जो कि कर्मचारियों को रिटायरमेंट के पश्चात सैटल होने में मदद करता है। यह कम्युटेशन सभी कर्मचारियों के लिए ऑप्शनल होता है। अगर आपको रिटायरमेंट के बाद जरूरत है तो आप इसे ले सकते हैं अन्यथा आप मना करके हर महीने अपनी पूरी पेंशन प्राप्त कर सकते हैं।
सरकार हमेशा अपने कर्मचारियों के लिए काम करती है। रिटायरमेंट जाने के बाद भी घर की महत्वपूर्ण जिम्मेदारियां होती हैं। जिन्हें सभी को अच्छे से निभाना होता है। सरकार सोचती है कि मेरे कर्मचारी अपने जिम्मेदारियों को सही से निभाने के लिए किसी व्यक्ति विशेष के आगे अपने हाथ ना फैलाए। यदि यह धनराशि आपने रिटायरमेंट जाते समय नहीं ली थी। और एक साल से अंदर आपको इसकी जरूरत होती है तो आप अपने संबंधित कार्यालय से कार्यवाही करके पेंशन कम्युटेशन की धनराशि प्राप्त कर सकते हैं। पेंशन कम्युटेशन की धनराशि आप कम और ज्यादा ले सकते हैं। इसकी अधिकतम सीमा 50 % है। आप चाहें तो 50 % से कम धनराशि के लिए भी आवेदन कर सकते हैं।
पेंशन कम्युटेशन लेने के फायदे :-
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धनराशि मांफ़ हो जाती है। इसका मतलब उनके next of kin को पूरी फैमिली पेंशन की राशि दी जाती है। फैमिली पेंशन से कभी भी कम्युटेशन की भरपाई नहीं की जाती है।
(6). यहां एक उदाहरण से समझते हैं :-माना एक कर्मचारी की बेसिक पेंशन - 30,000 रूपये है और उसमें 38 % महंगाई राहत (₹ 11,400) जुड़ जाता है। लेकिन 50 % कम्युटेशन लेने की वजह से बेसिक पेंशन की 50 % राशि (₹ 15,000) इनमें से कम कर दी जाती है। अब उस कर्मचारी की एक महीने की पेंशन राशि 30,000 + 11,400 = 41,400 - 15,000 = 26,400 रूपये बनती है। जो उसे हर महीने पेंशन के रूप में मिलती है।
पेंशन कम्युटेशन नहीं लेने के फायदे :-
(1). आपको हर महीने पूरी पेंशन की धनराशि मिलेगी। जिससे आपके घर का खर्चा आसानी से चल जायेगा।
(2). अगर आप पेंशन कम्युटेशन नहीं लेते हैं तो आपको घर के खर्चे चलाने के लिए तुरंत दूसरी जॉब में जाने की जरूरत नहीं होगी।
(3). यहां एक उदाहरण से समझते हैं :-माना एक कर्मचारी की बेसिक पेंशन - 30,000 रूपये है और उसमें 38 % महंगाई राहत (₹ 11,400) जुड़ जाता है। अब उस कर्मचारी की एक महीने की पेंशन राशि 30,000 + 11,400 = 41,400 रूपये बनती है। जो उसे हर महीने पेंशन के रूप में मिलती है।
संसार में हर एक चीज के दो पहलू होते हैं। फायदे होंगे तो जाहिर सी बात है नुकसान भी हो सकते हैं। अच्छाई होगी तो कुछ बुराई भी हो सकती है। इसलिए अब जानते हैं इसके क्या नुकसान भी हो सकते हैं।
पेंशन कम्युटेशन लेने से संभावित नुकसान :-
(1). यह एक प्रकार का लोन ही है। जिसमें आपको सालाना 8 % की ब्याज दर देनी पड़ती है।
(2). पेंशन कम्युटेशन लेने से लगभग 15 साल के लिए पेंशन धनराशि आधी हो जाती है। जो आपको घर अच्छी तरह चलाने के लिए जल्दी से जल्दी दूसरी नौकरी करने के लिए बाध्य कर सकती है।
(3). कम्युटेशन राशि को इन्वेस्टमेंट प्लान में लगाने पर भी 5 से 7 प्रतिशत की दर से रिटर्न पाने में घाटा ही है। क्योंकि हम कम्युटेशन में 8 % की दर से सरकार को दे रहे हैं लेकिन हम बदले में ज्यादा से ज्यादा 7 % तक ही रिटर्न ले पा रहे हैं।
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आशा करता हूं कि आप इसके बारे में अच्छे से समझ गए होंगे। क्योंकि आपको life में financialy strong होना बहुत जरूरी है।
